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जालंधर: वरिष्ठ पत्रकार गगन वालिया की माता की अंतिम अरदास में राजनेता और पत्रकारों ने दी भावपूर्ण श्रद्धांजलि

ByPunjab Khabar Live

Jun 22, 2025

जालंधर के गुरु तेग बहादुर नगर के गुरुद्वारा साहिब में ख़बरिस्तान न्यूज नेटवर्क के हेड और मीडिया क्लब के प्रधान गगन वालिया की माता अनुराधा वालिया जी की अंतिम अरदास और एवं पवित्र ग्रंथों का पाठ किया गया।

उनकी अंतिम अरदास में आप नेता दीपक बाली, कांग्रेस जिला अध्यक्ष व पूर्व विधायक राजिंदर बेरी, भाजपा नेता व पूर्व विधायक केडी भंडारी, भाजपा नेता व पूर्व विधायक शीतल अंगुराल, चंदन ग्रेवाल, काउंसलर बलराज ठाकुर, रॉबिन सांपला, मॉडल टाउन मार्किट एसोसिएशन के प्रधान राजीव दुग्गल समेत अन्य लोग श्रद्धांजलि देने पहुंचे।

वहीं शहर के प्रमुख पत्रकार भी अंतिम अरदास में गगन वालिया जी की माता को श्रद्धांजलि देने पहुंचे। इस दौरान रमन मीर, रोहित सिद्धू, सुधीर पांडे, विनयपाल जैद, नरेश भारद्वाज, नरिंदर नंदू, संदीप शाही, पवन धूपर, डॉ सुरिंदर पाल, रमेश नैयर, हरिश, राजेश, सुक्रांत साफरी, हेमंत धीर, अंकित शर्मा, वारिस, मनवीर सभरवाल, सुरिंदर कंबोज, सोमा, राम, जतिन, मनप्रीत समेत अन्य पत्रकारों ने श्रद्धांजलि दी।

मां के बारे में बोलना बहुत मुश्किल है – दीपक बाली

इस दौरान आप नेता दीपक बाली ने कहा कि मां के बारे में बोलना बहुत मुश्किल है। भगवान के बाद अगर आपके जीवन में किसी का रुतबा होता है तो वह सिर्फ मां ही होता है। जिसने आपको बोलना, चलना सिखाया, उसने ही हाथ, पैर आंख और मुंह दिए। मेरी जुबान के जो शब्द हैं वह भी मैंने मां से ही सीखें हैं।

मां का रिश्ता कभी बदला नहीं जा सकता: दीपक बाली

उन्होंने आगे कहा कि मां का रिश्ता हरेक का अपने बेटे के साथ एक जैसा होता है। ठीक वैसे ही जैसे गगन वालिया का उनकी माता अनुराधा वालिया जी के साथ था। मां का स्वरुप ही अलग है, दुनिया की हर मां अपने बेटे के लिए कुछ भी कर गुजरने को तैयार रहती है। वह अपने हिस्से की रोटी, कपड़ा और यहां तक कि उसे छांव भी देती है। दुनिया में बहुत से रिश्ते होते हैं जो बदले जा सकते हैं, पर मां का रिश्ता कभी बदला नहीं जा सकता।

वालिया परिवार के लिए बहुत बड़ा घाटा: बलराज ठाकुर

कांग्रेस कांउसलर बलराज ठाकुर ने कहा कि गगन वालिया और उनके परिवार को पिछले 35 सालों से जानता हूं। उनके पिता ने जिस ईमानदारी के साथ अपना जीवन जिया, वो आज भी कायम है। पर उनकी जीवन साथी अनुराधा वालिया अब साथ में नहीं है, जो वालिया परिवार के लिए बहुत बड़ा घाटा है। उनके पुत्र गगन वालिया ने पत्रकारिता के क्षेत्र में आज अपनी जगह बनाई है। वहीं बड़ा बेटा रिशु वालिया विदेश में होने के कारण इस दुख की घड़ी में परिवार के साथ जुड़ नहीं पाया। पर इस दुख की घड़ी में आए सभी लोगों का वालिया परिवार धन्यवाद करता है।

बता दें कि गगन वालिया की पूज्य माता अनुराधा वालिया का 14 जून को निधन हुआ था। वह काफी लंबे समय से बीमार चल रही थी। उनका अंतिम संस्कार शनिवार 14 जून को मॉडल टाउन श्मशानघाट में किया गया था।

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